हर शाम


हर शाम को
जब सूरज सोने के लिए जाता है
NID का अम्बर
पाखी से भर जाया करता है।
संगीत की सुरों से भर जाती है
इसकी आंगन ।
पछी की चहचहाहट
दिक्दिगंत भर जाती है
उसी का एक दृश्य है यह ...

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