कला

कला किताबों  से नहीं जन्मी
वो हृदय और विवेक से जनमती है। 
और आदिम कला इसका प्रमाण है। 
प्रकृति इसकी पोषक है और कलाकार इसका सृजक। 

Comments

Popular posts from this blog

जुग दो बोदोल एन।

Gur Pitha

Sculptor Sri Binod Singh (मूर्तिशिल्पी आचार्य श्री बिनोद सिंह)